नई दिल्ली। कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शनकारी किसानों को दिल्ली में 26 जनवरी के मौके पर ट्रैक्टर रैली निकालने की इजाजत मिल गई है. दिल्ली की 3 जगहों से (सिंघु बॉर्डर, टिकरी बॉर्डर और गाजीपुर बॉर्डर) बैरिकेड्स को हटाकर कुछ किलोमीटर तक अंदर आने पर सहमति बनी है. वहीं, रैली में गड़बड़ी की आशंका को देखते हुए दिल्ली पुलिस ने पाकिस्तान के 308 ट्विटर हैंडल भी मार्क किए हैं.
दिल्ली पुलिस के स्पेशल कमिश्नर दीपेंद्र पाठक ने कहा कि आज किसानों के साथ अच्छा संवाद रहा. पूरे सम्मान के साथ ट्रैक्टर रैली की हमारी कोशिश है. गणतंत्र दिवस परेड के बाद इन तीन जगहों से किसान ट्रैक्टर रैली के लिए एंट्री कर सकेंगे. उन्होंने कहा कि टिकरी बॉर्डर से प्रवेश करने पर 63-64 किलोमीटर के स्ट्रेच, सिंघु बॉर्डर से 62-63 किलोमीटर के स्ट्रेच और गाजीपुर बॉर्डर से 46 किलोमीटर के स्ट्रेच की अनुमति है. ट्रैक्टरों को इस तरह से लाया जाए कि मार्च शांतिपूर्ण और अनुशासित तरीके से हो.
The tractor rally will enter Delhi from Tikri, Singhu & Ghazipur borders & return to its originating points. From Singhu, it will pass through Kanjhawala, Bawana, Auchandi border, KMP Expressway & then return to Singhu:Dependra Pathak, Special CP, Intelligence, Delhi Police (1/2) https://t.co/SAgWiDXC4g
— ANI (@ANI) January 24, 2021
सिंघु बॉर्डरः- सिंघु बॉर्डर से ट्रैक्टर परेड शुरू होगी जो संजय गांधी ट्रांसपोर्ट, कंझावला, बवाना, औचन्दी बॉर्डर होते हुए हरियाणा में चली जाएगी.
टिकरी बार्डरः- टिकरी बॉर्डर से ट्रैक्टर परेड नांगलोई, नजफगढ़, झड़ौदा, बादली होते हुए केएमपी एक्सप्रेस पर चली जाएगी.
गाजीपुर युपी गेटः गाजीपुर यूपी गेट से ट्रैक्टर परेड अप्सरा बॉर्डर गाजियाबाद होते हुए डासना यूपी में चली जाएगी.
दीपेंद्र पाठक ने बताया कि टिकरी बॉर्डर पर 7 से 8 हजार ट्रैक्टर आ चुके हैं, जबकि गाजीपुर पर 1 हजार और सिंघु बॉर्डर 5 हजार ट्रैक्टर पहुंच चुके हैं. हमारी कोशिश है कि ट्रैक्टर रैली को सुरक्षित माहौल में सफल बनाएं.
ट्रालियां न लेकर आएंः योगेंद्र यादव
दिल्ली पुलिस के साथ मीटिंग के बाद योगेंद्र यादव ने कहा कि दिल्ली पुलिस की तरफ से आधिकारिक रूप से 26 जनवरी को ट्रैक्टर परेड निकालने की इजाजत मिल गई है. जितने भी साथी अपनी ट्रालियां लेकर बैठें है. मैं उनसे अपील करता हूं कि सिर्फ ट्रैक्टर दिल्ली के अंदर लेकर आएं, ट्रालियां न लेकर आएं.
बता दें कि दिल्ली-एनसीआर में चल रहा किसान आंदोलन 2 महीने पूरे करने जा रहा है. आज आंदोलन का 58वां दिन है. पिछले 26 नवंबर से किसान तीन कृषि कानूनों को रद्द करने और एमएसपी की गारंटी की मांग को लेकर दिल्ली एनसीआर के बॉर्डर पर धरना दे रहे हैं. सरकार इन कानूनों को 18 महीनों तक के लिए रोकने पर सहमत हो गई है, लेकिन किसान कानून को रद्द करने के अलावा और कुछ भी नहीं चाहते हैं.
क्या बोले केंद्रीय कृषि मंत्री?
इससे पहले, आजतक के साथ विशेष बातचीत में केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि कोई अदृश्य ताकत है जो चाहती है कि ये मसला हल नहीं हो. जब कृषि मंत्री से उन ताकतों का नाम पूछा गया तो उन्होंने स्पष्ट रूप से कुछ नहीं कहा. नरेंद्र तोमर ने कहा कि बातचीत के अगले ही दिन किसानों का सुर बदल जाता है. वहीं किसानों को राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसी (एनआईए) के नोटिस भेजे जाने के मामले में कृषि मंत्री ने कहा कि किसी भी चीज को किसान आंदोलन से जोड़ना सही नहीं है.