ईरान समर्थित लेबनानी आतंकवादी समूह हिजबुल्लाह के सैकड़ों सदस्य मंगलवार को तब जख्मी हो गए जब उनके ही पेजर्स में धमाका हो गया। इस हादसे में ईरानी राजदूत समेत 1000 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं।
ईरान समर्थित लेबनानी आतंकवादी समूह हिजबुल्लाह के सैकड़ों सदस्य मंगलवार को तब जख्मी हो गए जब उनके ही पेजर्स में सिलसिलेवार धमाका हो गया। इस हादसे में ईरानी राजदूत समेत 1000 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं। इन पेजर्स का इस्तेमाल हिज्बुल्लाह के लड़ाके आपसी संचार के लिए किया करते थे लेकिन उसी को हैक कर उसमें विस्फोट करा दिया गया। ईरान की मेहर समाचार एजेंसी के अनुसार, लेबनान में ईरानी राजदूत मोजतबा अमानी भी घायलों में शामिल हैं।
हिज्बुल्लाह ने इस हमले के लिए इजरायल को दोषी ठहराया है और दावा किया है कि सभी पेजर लगभग एक ही समय में फटे। यह अपने तरह की अलग घटना है। हिज्बुल्लाह ने कहा कि यह सबसे बड़ी सुरक्षा चूक है, जिसका वह सामना कर रहा है। रॉयटर्स के अनुसार, हिजबुल्लाह के एक अधिकारी ने कहा कि पेजर में हुआ विस्फोट इजरायल के साथ लगभग एक साल के युद्ध में समूह द्वारा किया गया “सबसे बड़ा सुरक्षा उल्लंघन” है।
The videos of exploding pagers in the pockets of Hezbollah operatives as they shop in Beirut are nuts. Reportedly dozens or even hundreds were injured in simultaneous pager explosions. Quite a feat — and Mossad is the suspected culprit. Also — pagers in 2024? pic.twitter.com/flDiACFBJD
— Yaroslav Trofimov (@yarotrof) September 17, 2024
रॉयटर्स की खबर के अनुसार, बेरूत के दक्षिणी उपनगर दहियाह में ये विस्फोट हुए हैं। हालांकि, लेबनान की सरकारी समाचार एजेंसी NNA ने बताया है कि लेबनान की मध्य बेका घाटी के अली अल-नहरी और रियाक कस्बों में भी”हैक” किए गए पेजर उपकरणों में विस्फोट हुए हैं, जिसके परिणामस्वरूप बड़ी संख्या में लोग घायल हुए हैं। ये तीनों स्थान हिजबुल्लाह के गढ़ माने जाते हैं।
लेबनान के स्वास्थ्य मंत्रालय ने उन नागरिकों से आग्रह किया है जिनके पास भी पेजर हैं, कि वे छोड़ दें। मंत्रालय ने अस्पतालों को “हाई अलर्ट” पर रहने की चेतावनी दी है। बता दें कि पिछले साल अक्टूबर में गाजा में इजरायली हमले शुरू होने के बाद से ही ईरान समर्थित हिज्बुल्लाह लड़ाकों और इजरायल के बीच सीमा पार से संघर्ष जारी है लेकिन हाल के समय में स्थिति और गंभी हुई है। दोनों ही तरफ से हमले बढ़ गए हैं। हिज्बुल्लाह पर अमेरिका समेत यूरोपीय देशों ने बैन लगा रखा है।