आईपीएल सीजन 12 के 7वें मैच में बेंगलुरू और मुंबई के बीच हुए रोमांचक मैच में मुंबई की 6 रनों की जीत हुई. इस मैच में सबसे अधिक सुर्खियां मैच की आखिरी गेंद ने ले ली जो कि नो बॉल होने के बावजूद अंपायर नहीं दे सके. इस पर विराट कोहली ने भी अपनी नाराजगी खुल कर ही दिखाई और कह डाला कि यह आईपीएल मैच है कोई क्लब क्रिकेट नहीं. इस विवाद में मुंबई के जसप्रीत बुमराह और बेंगलुरू के एबी डिविलियर्स का शानदार प्रदर्शन छिप कर रह गया इसमें बुमराह की बेहतरीन गेंदबाजी के लिए उन्हें मैन ऑफ द मैच चुना गया.
इस मैच में मुंबई ने निर्धारित20 ओवरों में 8 विकेट के नुकसान पर 187 रन बनाए जिसमें कप्तान रोहित शर्मा के 48 रन (33 गेंदों पर), सूर्यकुमार यादव की 38 रन (24 गेंदों पर), क्विनटन डि कॉक की 23 रन (20 गेंदों पर) रन, युवराज सिंह की 23 रन (12 गेंदों पर) और हार्दिक पांड्या के 32 रन (14 गेंदों पर) की पारियों का योगदान रहा. इसके जवाब में पार्थिव पटेल (22 गेंदों पर 31 रन) और मोइन अली (13 रन) ने बढ़िया शुरुआत देने की कोशिश तो की लेकन मोइन अली रन आउट हो गए.
इसके बाद विराट और एबी डिविलियर्स ने मैच एक तरह से बेंगलुरू के पक्ष में ही मोड़ दिया. 13 ओवर तक मैच का यही हाल था जब बेंगलुरू को 42 गेंदों पर 75 रनों की दरकार थी और मैच पूरी तरह से रोमांच के चरम पर था. सात ओवर का समय दोनों ही टीमों के लिए काफी था. ऐसे में 14वां ओवर कप्तान रोहित शर्मा ने जसप्रीत बुमराह को दे दिया. बुमराह ने अपने कप्तान को निराश नहीं किया और और ओवर की चौथी गेंद ऐसी बाउंसर फेंकी जिसे विराट कोहली ने पुल तो किया लेकिन वे मिडविकेट पर खड़े हार्दिक पांड्या को कैच दे बैठे. इस तरह से विराट कोहली के 32 गेंदों पर 46 रनों की पारी का अंत हो गया जिससे बेंगलुरू के फैंस में थोड़ी निराशा तो हुई लेकिन उनकी सबसे बड़ी उम्मीद डीविलियर्स अब भी क्रीज पर थे.
डेविलियर्स ने जगाई उम्मीद
14 ओवर के बाद बेंगलुरू के 36 गेंदों में 72 रनों की जरूरत थी यह गणित 16 ओवर के बाद 24 गेंदों में 41 रन हो गया और बेंगलुरू की उम्मीद डिविलियर्स ने बढ़ा दी. 17वें ओवर में बुमरहा ने फिर से कमाल दिखाते हुए शिमरोन हेटमेयर को पहली ही गेंद पर चलता कर दिया और इस ओवर में एक ही रन दिया. 18वें ओवर में डिविलियर्स ने एक बार फिर तेजी से रन बनाए और हार्दिक के ओवर में 17 रन (टीम ने 18 रन बटोरे)
बुमराह ने बनाई बेंगलुरू की राह कठिन
अब टीम को 12 गेंदों पर 22 रन चाहिए थे. ऐसे में 19वां ओवर बुमराह को दिया गया. एक बार फिर बुमराह ने इस ओवर में एक भी चौका-छक्का नहीं लगने दिया और कोलिन ग्रांडहोम का विकेट भी गिरा दिया. अब अंतिम ओवर में डिविलियर्स के साथ शिवम दुबे थे और गेंद मलिंगा के हाथों में थी. बेंगलुरू को 6 गेंदों पर 17 रन चाहिए थे ऐसे में शिवम दुबे ने छक्का लगाकर मैच में रोमांच ला दिया अब 5 गेंदों पर 11 रनों की दरकार थी.
मलिंगा ने एक बार फिर अपनी तेज यार्कर्स के जलवे दिखाए और अगली तीन गेंदों पर एक-एक रन दिए. अब एक गेंद पर कम से कम छक्के की जरूरत थी बेंगलुरू को हार से बचने के लिए. ऐसे में मलिंगा की फिलटॉस पर शिवम दुबे कोई रन न ले सके और मुंबई की झोली में जीत आ गई. बाद में रीप्ले में दिखा की मलिंगा की वह अंतिम गेंद नो बॉल थी. इसी पर विराट भारी नाराज दिखे. अब तक इस सीजन में विराट को दो मैचों में एक भी जीत हासिल नहीं हो सकी है.